भाषा सीखेंभोजपुरी सीखें

कइसे भोजपुरी सिखल जाव : भोजपुरी मुहावरा और अर्थ | Bhojpuri idiom and meaning : तेरहवां भाग

एह कोर्स में राउर हार्दिक स्वागत बा ।😊

बिहारलोकगीत डॉट कॉम के लगातार सार्थक कोशिश रही कि आपन गौरवशाली अतीत के फेर से परिभाषित कऽ के भोजपुरी के छवि के आपन देस के साथे-साथ दुनिया के बाकी हिस्सा में भी पुनर्जीवित कईल जाव। ई काम में रउरा सब के सहयोग के साथ जरुरी बा, एह से रउरा सभे से निहोरा बा की “बिहारलोकगीत डॉट कॉम” से जुड़ी आ आपन भासा भोजपुरी के आगे बढ़ावे में बिहारलोकगीत के मदद करीं।

बिहारलोकगीत डॉट कॉम के ई सतत प्रयास बा की आपन भोजपुरी भाषा आगे बढ़े आ भोजपुरी के ऑनलाइन के माध्यम से ज्यादा से ज्यादा लोगन तक पहुचावल जाव, एह कड़ी के आगे बढ़ावत बिहारलोकगीत लेके आइल बा भोजपुरी मुहावरा, जहा प रउवा भोजपुरी मुहावरा के बारे में पढ़ेब और ओकरा बारे में जानेब ओकर अर्थ के साथ ।

आखिर ह का मुहावरा ?, भोजपुरी मुहावरा :-

मुहावरा अपना भोजपुरी भाषा के एगो अभिन्न अंग ह, एकरा बिना भोजपुरी भाषा भा साहित्य पूरा नइखे होसकत। भोजपुरी भासा के बोल चाल में मुहावरा के प्रयोग खूब होला।
परिभाषा: अइसन वाक्यांश जवन आपन साधारण अर्थ छोड़ के कवनो विशेष मतलब आ अर्थ की ओर ले जाव भा व्यक्त करो ओकरा के मुहावरा कहल जाला।
हमरा कम उमेद बा की केहू भोजपुरी अपना गावं-घरे में बूढ़ पुरनिया से मुहबरा ना सुनले होइ, लेकिन अब भोजपुरी मुहावरा के उपयोग कम होखत जा ता।
हमार शुभकामना बा कि राउर जतरा शुभ होखे ।


भोजपुरी मुहावरा और अर्थ | Idioms in Bhojpuri with meaning :-

भोजपुरी मुहावरा
अर्थ
घरकच में फँसल 
      :-         
माया -मोह में पड़ना।
घर बसल
      :-
विवाह होना।
घर बिगारल
      :-
घर में फूट फैलाना।
घर भरल 
      :-
घर में धन इकट्ठा करना।
घाठा परल
      :-
अभ्यास पड़ना।
घाड़ारी परल
      :-
गहरा चिह्न पड़ना।
घाम खाइल
      :-
गरमी के लिए धूप में रहना
घासि छिलल 
      :-
खुरपे से घास को जड़ के पास से काटना।
घिधिआइल 
      :-
विनय करना।
घीव के दिया जरल
      :-
कामना पूरी होना।
घुरहू कतवारू कइल
      :-
निम्न कोटि का मनुष्य समझना।
घुर्चिआह भइल
      :- 
धूर्त होना।
चाँपल 
      :-
अच्छा भोजन इच्छापूर्वक खाना।
चिंउटी के चाल चलल
     :-
बहुत धीरे -धीरे चलना 
चेउँ बोलल या बोलावल 
     :-
नम्रता स्वीकार करना।
चोंकरल
     :-
भैंस के चिल्लाने को भोजपुरी में ‘चोंकरल’ कहते हैं। व्यंग्य में चिल्लाने के लिए भी इसका प्रयोग होता है।
चउलि कइल
     :-
 हँसी -दिल्लगी करना।
चकचोन्हर भइल 
     :-
मूर्ख होना।
चटक मटक भइल 
     :-
स्वादिष्ट भोजन बनाना।
चमइनी से पेट छॉपावल
     :-
जानने वाले से कोई बात छिपाना।
चमरई कइल 
     :-
नीचता करना।
चमार सियार भइल
     :-
नीच प्रवृत्ति का होना
चलबीधर भइल
     :-
चंचल अथवा तेज़ होना।
चिरुआ भरि पानी में डूबि मरल
:-
चुल्लू भर पानी में डूब मरना
चुमल चाटल
:-
प्यार करना।
चूरि फूटल  
:-
विधवा होना।
चेट गॉरॉमावल
:-
रिश्वत देना
चेला मँडल 
:-
शिष्य बनाना।
चोन्हा कइल 
:-
नख़रा करना।
छनकाह भइल
:-
संदेह करने वाला होना
छरिआइल
:-
खूब रोना; क्रोधित होना
छाती पर कोदो दरल
:-
किसी को दिखला कर कोई ऐसा काम करना जिससे उसे ईर्ष्या या ताप हो।
छाती पीटल 
:-
अफ़सोस होना।
छिछिआइल फिरल
:-
मारा -मारा फिरना।
छोह कइल
:-
प्रेम करना।
जंगल में मंगल भइल 
:-
 सुनसान में चलह -पहल का होना।
जाँगर ठेठावल 
:-
घोर शारीरिक परिश्रम करना।
जग जीतल
:-
संसार जीतना, महत्त्वपूर्ण कार्य करना।
जर उतरल 
:-
बखार दर होना।
जरि खोदल
:-
विनाश करना।
जलंधर भइल
:-
अत्यंत वृद्ध होना
जॉनमार भइल
:-
अत्यंत सुंदर होना।
जॉबान हारल 
:-
वचन देना।
जॉमावड़ा भइल
:-
भीड़ होना
जान छोड़ावल 
:-
प्राण बचाना।
जान जोखिम में परल 
:-
आपत्ति में पड़ना।
जामा थउसल 
:-
पूँजी नष्ट हो जाना
जिऑका लॉगावल
:-
भरण -पोषण का प्रबंध करना
जीअत माँछी घोंटल
:-
सरासर बेईमानी करना।
जीभी में पानी गिरल 
:-
जीभ में से पानी गिरना, लालच हो आना।
जीव के गाँहक भइल 
:-
प्राण लेने पर उतारू होना।
जीव चोरावल
:-
किसी काम से भागना।
जीव छोड़ल 
:-
निराश होना; साहस गँवाना।
जीव दीहल 
:-
प्राण देना
जीव भारी भइल 
:-
तबीयत अच्छी न होना।
जीव साँसति में परल
:-
प्राण संकट में पड़ना।
जुता खाइल 
:-
बुरा -भला सुनना
जूठन गिरावल
:-
भोजन करना।
जेहन खुलल 
:-
बुद्धि का विकास होना।
जोड़ तोड़ लागल 
:-
समान शक्ति का होना।
टरकावल
:-
बहाना करना।
टटर् कइल
:-
चिल्लाना, शोर गुल मचाना।
टापत रहल 
:-
भूखे रहना।
टापि गइल
:-
आगे निकल जाना
टिबोली बोलल 
:-
व्यंग्य बोलना
टिमटाम बढ़ावल या राखल
:-
ठाट -बाट रखना।
टेढुआइल
:-
नाराज होना।
टोकारी पारल
:-
शुभ मुहूर्त पर यात्रा करने वाले व्यक्ति को टोकना।
टोह राखल
:-
देखभाल रखना।
ठाँव कुठाँव लागल 
:-
मर्मस्थल में चोट पहुँचना।
ठकठेनि कइल
:-
हठ करना।
ठकुरई देखावल 
:-
शान दिखलाना
ठटि के खाइल 
:-
खूब पेट भर खाना।
ठन् ठन् गोपाल भइल 
:-
कुछ भी पास न होना।
ठप भइल 
:-
बंद हो जाना; समाप्त हो जाना।
ठहर दिहल
:-
चौका लगाना।
ठाट कइल 
:-
ढाँचा तैयार करना।
ठाड़ा भइल
:-
खड़ा होना; प्रतिनिधित्व के लिए पर्चा दाखिल करना।
ठेकान लागल
:-
प्रबंध होना
ठोकच बइठल 
:-
दुबला हो जाना।
ठोकर खाइल
:-
लात सहना।
ठोठ मलल
:-
नीचा दिखाना
ठंडा बाजल 
:-
किसी की चलती होना।
डॉक डाँक कइल
:-
चिल्लाना; शोर करना।
डाँड़ परल
:-
नुकसान होना।
डाँड़ सोझ कइल 
:-
 लेटकर थकावट मिटाना।
डाँफि दिहल
:-
डरा देना।
डहर धइल
:-
चल देना।
डहरि बातावल 
:-
रास्ता दिखलाना।
डुगडुगी पिटवावल
:-
खबर जनाना।
डुबल उतराइल
:-
सोच में पड़ जाना।
डोरा फेंकल 
:-
प्रेम में फंसाना।
डोल डाल कइल 
:-
शौच होना।
डोला निकालल
:-
दुलहिन की विदाई करना।
ढिंढोरा पीटल 
:-
चारों ओर घोषित करना।
ढींढ गिरल
:-
गर्भपात होना।

रउवा खातिर:

कइसे भोजपुरी सिखल जाव : पहिलका दिन
कइसे भोजपुरी सिखल जाव : दुसरका दिन
कइसे भोजपुरी सिखल जाव : तिसरका दिन
कइसे भोजपुरी सिखल जाव : चउथा दिन
कइसे भोजपुरी सिखल जाव : पांचवा दिन
कइसे भोजपुरी सिखल जाव : छठवां दिन
कइसे भोजपुरी सिखल जाव :सातवां दिन
कइसे भोजपुरी सिखल जाव :आठवां दिन
कइसे भोजपुरी सिखल जाव :नउवां दिन
कइसे भोजपुरी सिखल जाव :दसवां दिन
कइसे भोजपुरी सिखल जाव :ग्यारहवां दिन
कइसे भोजपुरी सिखल जाव : बारहवां दिन
कइसे भोजपुरी सिखल जाव : भोजपुरी मुहावरा और अर्थ : पहिला भाग
कइसे भोजपुरी सिखल जाव : भोजपुरी मुहावरा और अर्थ : दुसरका भाग
कइसे भोजपुरी सिखल जाव : भोजपुरी मुहावरा और अर्थ : तिसरका भाग
कइसे भोजपुरी सिखल जाव : भोजपुरी मुहावरा और अर्थ : चउथा भाग 
कइसे भोजपुरी सिखल जाव : भोजपुरी मुहावरा और अर्थ : पांचवा भाग
कइसे भोजपुरी सिखल जाव : भोजपुरी मुहावरा और अर्थ : छठवाँ भाग 
कइसे भोजपुरी सिखल जाव : भोजपुरी मुहावरा और अर्थ : सातवाँ भाग
कइसे भोजपुरी सिखल जाव : भोजपुरी मुहावरा और अर्थ : आठवाँ भाग 
कइसे भोजपुरी सिखल जाव : भोजपुरी मुहावरा और अर्थ :  नउवां भाग 
कइसे भोजपुरी सिखल जाव : भोजपुरी मुहावरा और अर्थ :  दसवां भाग
कइसे भोजपुरी सिखल जाव : भोजपुरी मुहावरा और अर्थ : ग्यारहवां भाग
कइसे भोजपुरी सिखल जाव : भोजपुरी मुहावरा और अर्थ : बारहवां भाग
कइसे भोजपुरी सिखल जाव : भोजपुरी मुहावरा और अर्थ : तेरहवां भाग

इ पेज बनावला के मुख्य उदेश्य बा की भोजपुरी सीखे वाला के सहायता कइल आ भोजपुरी भाषा के आगे बढ़ावल। येही मकसद से बिहारलोकगीत डॉट कॉम पर भोजपुरी भाषा सीखे! (Learn Bhojpuri) पेज बनावल गईल बा, जे भोजपुरी सीखे के चाहत बा भा जाने के इच्छा रखत बा त वो लोग ख़ातिर भी इ पेज बहुत उपयोगी बा।
बिहारलोकगीत डॉट कॉम  के कोशिश बा की लोग ज्यादा से ज्यादा भोजपुरी भाषा सीखे आ भोजपुरी भाषा बोले।
एह पर भोजपुरी के आसान वाक्य आ हर रोज उपयोग में आवे वाला वाक्यन के संग्रह कइल गइल बा, जेसे रउवा सब के भोजपुरी भाषा सीखे आ बोले में आसानी होखे।
अगर रउवो लगे भोजपुरी वाक्यन के संग्रह बा त बिहारलोकगीत डॉट कॉम के भेज दीं। राउर वाक्यन के बिहारलोकगीत डॉट कॉम के एह पेज प जोड़ दीहल जाई।

ध्यान दीं: भोजपुरी सीखे के खातिर बिहारलोकगीत.कॉम के फेसबुक पेज के लाइक करीं ।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

error: Content is protected !!